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भाजपा नेताओं के होर्डिंग लगते हैं, लेकिन महापुरुषों की मूर्तियां हटाई जा रही हैं - आनंद गुर्जर


News Expert - Sushil Sharma 

हापुड़ - सीतापुर जनपद के बिसवां क्षेत्र में देश के प्रख्यात स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, पूर्व राज्यसभा सांसद (1952–1964) और “सीतापुर के गांधी” के नाम से प्रसिद्ध स्वर्गीय जगन्नाथ प्रसाद अग्रवाल उर्फ जगन बाबू जी की प्रतिमा को जिला प्रशासन द्वारा हटाए जाने के मामले ने राजनीतिक रंग ले लिया है। समाजवादी पार्टी ने इस घटना को गंभीरता से लेते हुए उत्तर प्रदेश सरकार पर तीखा हमला बोला है।

समाजवादी व्यापार सभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष माननीय मनीष जगन अग्रवाल के दादा एवं देश की आज़ादी के आंदोलन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले जगन बाबू जी की प्रतिमा को 27 अक्टूबर 2025 को जिला प्रशासन ने कथित तौर पर राज्य सरकार के निर्देश पर बड़े चौराहे से हटा दिया। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी इस मुद्दे को अपनी सोशल मीडिया (फेसबुक और एक्स) पर उठाते हुए कहा है कि यह कार्य राजनीतिक द्वेष और ईर्ष्या की भावना से प्रेरित है।

समाजवादी व्यापार सभा ने जताई कड़ी नाराजगी

इस घटना के विरोध में समाजवादी व्यापार सभा, उत्तर प्रदेश ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। सभा ने कहा है कि देश के महान सपूत, स्वतंत्रता संग्राम सेनानी एवं वैश्य समाज के गौरव स्व० जगन्नाथ प्रसाद अग्रवाल उर्फ जगन बाबू जी की प्रतिमा को राजनीतिक विचारधारा के आधार पर हटाना महापुरुषों के अपमान के समान है।

सभा ने कहा कि भाजपा सरकार की यह कार्रवाई वैश्य समाज विरोधी मानसिकता को दर्शाती है। संगठन ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द ही प्रतिमा को पुनः अपने नियत स्थान पर ससम्मान नहीं लगाया गया, तो समाजवादी व्यापार सभा पूरे प्रदेश में सरकार के खिलाफ “हल्ला बोल” आंदोलन शुरू करेगी।

भाजपा की नीतियां तानाशाही पूर्ण - आनंद गुर्जर

समाजवादी व्यापार सभा, हापुड़ के जिलाध्यक्ष आनंद गुर्जर ने प्रदेश सरकार पर करारा प्रहार करते हुए कहा कि “उत्तर प्रदेश में भाजपा सरकार पूरी तरह तानाशाही पर उतारू है। जहां एक ओर मुख्यमंत्री और भाजपा नेता अपने नाम और चेहरों के बड़े-बड़े होर्डिंग जनता के पैसे से लगवा रहे हैं, वहीं दूसरी ओर देश के स्वतंत्रता सेनानियों और महापुरुषों की प्रतिमाएं हटाकर उनका अपमान कर रहे हैं।

स्वर्गीय जगन्नाथ प्रसाद अग्रवाल जैसे महापुरुष, जिन्होंने राष्ट्र की स्वतंत्रता के लिए अपना जीवन समर्पित किया, उनकी प्रतिमा को हटाना केवल वैश्य समाज ही नहीं, बल्कि पूरे देश के गौरव पर चोट है। यह कार्य भाजपा की ओछी मानसिकता और महापुरुषों के प्रति असम्मान की भावना को दर्शाता है।

समाजवादी व्यापार सभा इस अपमानजनक कदम की कड़े शब्दों में निंदा करती है और मांग करती है कि उत्तर प्रदेश सरकार तत्काल प्रतिमा को उसके स्थान पर ससम्मान पुनः स्थापित करे। अन्यथा, समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री अखिलेश यादव जी के नेतृत्व में प्रदेशभर में सरकार के खिलाफ उग्र आंदोलन किया जाएगा, जिसकी पूरी जिम्मेदारी प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन की होगी।”

भाजपा सरकार की कथनी और करनी में फर्क - गौरव गोयल

सभा के जिला उपाध्यक्ष गौरव गोयल ने कहा कि भाजपा सरकार महापुरुषों के सम्मान की बात तो करती है, लेकिन उसके कार्य इसके ठीक विपरीत हैं। उन्होंने कहा कि “भाजपा सरकार की कथनी और करनी में जमीन-आसमान का फर्क है। एक ओर वे मंचों से महापुरुषों के आदर्शों की बात करते हैं, दूसरी ओर उन्हीं महापुरुषों की प्रतिमाओं को हटवाकर उनके आदर्शों का अपमान करते हैं। यह देश और समाज के लिए बेहद शर्मनाक है।”

सभा ने दिया आंदोलन का अल्टीमेटम

समाजवादी व्यापार सभा ने ऐलान किया है कि यदि जल्द ही प्रतिमा को उसके मूल स्थान पर स्थापित नहीं किया गया, तो प्रदेशभर में व्यापारियों और समाजवादी कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर भाजपा सरकार के खिलाफ जिला से लेकर राजधानी तक आंदोलन किया जाएगा।










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